Tuesday, 22 July 2008

सस्ते शेर ने एक दुर्घटना टाली

अरबी महफ़ील मे मेरे हिन्दी दोस्त को गाना गाने कि तलब चढी मैने उसे यह अपराध करने से सज्जनता पुर्वक रोका कहा दोस्त आप गायेंगे तो लोग बेहोश हो सकते है ,पागल या उन्मादी हो सकते है ,भुकंप आने का भी खतरा है ,पर वह नही माना तो उसे तुरंत गढ कर एक ऐसा सस्ता शेर सुनाया कि उसने अपनी साबुत हड्डीयो के सदके अपनी यह जिद्द छोड दी इस प्रकार सस्ते शेर ने एक भयंकर दुर्घटना से बचाया ॥

तो पेशे खिदमत है वह गीता सार जो हमने अपने दोस्त से कही !!

हम तो दोस्त है
तुम्हारा गाना बजाना भी झेल जायेंगे
पर गर उन्होने तुम्हे बजा दिया
तो हम सिर्फ़ ताली बजाते रह जायेंगे

3 comments:

Anonymous said...

......भई वाह....!.... मजा आ गया... अगले पोस्ट के इंतजार में...

रश्मि प्रभा... said...

bahut shaandar,din ko in sheron ki bhi zarurat hoti hai- mazedaar

विजयशंकर चतुर्वेदी said...

ऐसी दोस्ती डेंजरस है! हहहहाहा!